कोलकाता:  भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने शनिवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की, राज्य में कम टीके भेजने के उनके आरोप को लेकर आलोचना की और विधानसभा चुनावों से पहले उन पर टीकाकरण कार्यक्रम का राजनीतिकरण करने का आरोप लगाया।

बनर्जी ने टीकाकरण प्रक्रिया के लिए पश्चिम बंगाल में ‘‘अपर्याप्त’’ संख्या में कोविड-19 के टीके की आपूर्ति को लेकर नाखुशी जताई थी।

विजयवर्गीय ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘उन्हें हर चीज का राजनीतिकरण बंद करना चाहिए। किसी भी राज्य ने शिकायत नहीं की, केवल वह इस बारे में शिकायत कर रही हैं। विधानसभा चुनावों से पहले वह मुद्दे का राजनीतिकरण करने का प्रयास कर रही हैं।’’

294 सदस्यीय बंगाल विधानसभा के चुनाव इस वर्ष अप्रैल-मई में होने वाले हैं।

विजसवर्गीय ने बनर्जी से कहा कि वह स्पष्ट करें कि क्या राज्य या केंद्र नि:शुल्क टीका मुहैया करा रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘पहले उन्होंने कहा कि वह नि:शुल्क टीका मुहैया कराएंगी। केंद्र पहले ही कह चुका है कि वह नि:शुल्क टीका उपलब्ध कराएगा लेकिन तृणमूल कांग्रेस सरकार श्रेय लेने के लिए कूद पड़ी।’’

राज्य में कम टीके भेजने के बनर्जी के आरोप के बारे में पूछने पर उन्होंने इसे निराधार बताया।

उन्होंने कहा, ‘‘आरोप निराधार हैं। अगर टीके कम पड़ रहे हैं तो इसलिए कि टीएमसी के नेता और विधायक टीका लगवाने के लिए लाइन में खड़े हैं।’’

टीकाकरण प्रक्रिया के लिए पश्चिम बंगाल में ‘‘अपर्याप्त’’ संख्या में कोविड-19 के टीके भेजे जाने पर नाखुशी जताते हुए बनर्जी ने कहा कि जरूरत पड़ने पर उनकी सरकार राज्य के लोगों को नि:शुल्क टीका देगी।

बनर्जी ने कहा कि उन्होंने ‘‘केंद्र सरकार से आग्रह किया है कि पर्याप्त संख्या में टीके की आपूर्ति करें ताकि न केवल अग्रिम मोर्चे के कार्यकर्ताओं बल्कि पश्चिम बंगाल के सभी लोगों को टीका मुहैया कराया जा सके।’’



तृणमूल कांग्रेस के दो विधायकों -- रबिन्द्रनाथ चटर्जी और सुभाष मंडल ने पूर्वी वर्धमान जिले में शनिवार को टीका लगवाया जिसके बाद राजनीतिक विवाद शुरू हो गया।