नई दिल्ली, 22 अप्रैल (हि.स.)। चुनाव प्रचार दौरान प्रधानमंत्री के दौरे से पहले कांग्रेस की ओर से लगातार सवाल उठाए जा रहे हैं। चुनावी सभा के दौरान उनके बयान पर भी तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की जा रही है। इस बार प्रधानमंत्री के रविवार को बांसवाड़ा रैली में दिए गए एक बयान पर विपक्ष बिफर उठा है।



राज्यसभा सदस्य कपिल सिब्बल ने आज (सोमवार) को चुनाव आयोग से पूछा है कि पीएम मोदी के बयान पर अब तक कोई कार्रवाई क्यों नहीं की गई?

सिब्बल ने सोमवार को सोशल मीडिया एक्स पर कहा, “ राजनीति इस स्तर तक गिर गई है कि पीएम मोदी भाषण दे रहे हैं कि कांग्रेस महिलाओं की संपत्ति घुसपैठियों और आतंकवादियों को दे देगी। ऐसा इतिहास में नहीं हुआ है।”

सिब्बल ने आगे कहा , “मैं चुनाव आयोग से पूछना चाहता हूं कि प्रधानमंत्री के इस बयान के बाद तुरंत कार्रवाई क्यों नहीं की गई।” कपिल सिब्बल ने इससे आगे कहा, “आपको (चुनाव आयोग ) इसकी निंदा करनी चाहिए और पीएम मोदी को नोटिस देना चाहिए।”



एक अगले पोस्ट में सिब्बल ने कहा कि नफरत के घोड़े का दूल्हा बन कर आप कभी हिंदुस्तान को बरकरार नहीं रख सकते। हम प्रधानमंत्री पद और उस पद पर आसीन व्यक्ति का सम्मान करते हैं लेकिन जब प्रधानमंत्री सम्मान के लायक नहीं है तो देश के बुद्धिजीवियों को अपनी बात रखनी चाहिए।

वहीं साेमवार को साेशल मीडिया एक्स पर कांग्रेस महासचिव (प्रसार) जयराम रमेश ने कहा, “प्रधानमंत्री ज़हरीली भाषा में दुनिया भर की बातें बोलते हैं। उन्हें एक सीधे से सवाल का जवाब भी देना चाहिए। ”

जयराम रमेश ने कहा, “1951 से हर दस साल के बाद जनगणना होती आ रही है। इससे अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति की आबादी का वास्तविक डेटा सामने आता है। इसे 2021 में कराया जाना चाहिए था लेकिन आज तक किया नहीं गया। इस पर प्रधानमंत्री चुप क्यों हैं? यह बाबासाहेब अंबेडकर के संविधान को ख़त्म करने की साज़िश है।”

हिन्दुस्थान समाचार/ बिरंचि सिंह/अनूप